दिनेश चन्द्र प्रसाद "दीनेश" से साक्षात्कार

जन्म :  ०५ नवम्बर १९५९
शिक्षा : स्नातक, विद्यावचस्पति

प्रकाशित पुस्तकें -

अगर इजाजत हो - काव्य संग्रह

प्रमुख सम्मान -

१.भारतीय वांग्मय पीठ कलकत्ता द्वारा सारसत्व 'सम्मान '
२.साहित्य गंगा संस्थान जलगांव (महाराष्ट्र)द्वारा गंगा ज्ञानेश्वरी गौरव सम्मान
३.पूर्वोत्तर हिंदी अकादमी, शिलांग (मेघालय) द्वारा 'महाराज कृष्ण जैन स्मृति सम्मान '
४.विक्रमशिला हिंदी विद्यापीठ, भागलपुर (बिहार) द्वारा   'कवि शिरोमणि सम्मान '
५.के. बी. हिंदी साहित्य संस्थान, बदायूं (उत्तर प्रदेश) द्वारा  ' सर्वेश्वर दयाल सक्सेना सम्मान.
६.जैमिनी अकादमी हरियाणा द्वारा 'विश्व हिंदी दिवस सम्मान'
७. राष्ट्रीय इतिहास एवम पुरातत्व शोध संस्थान बालाघाट (मध्य प्रदेश) द्वारा 'राष्ट्रीय स्वर्णिम रत्न विदश्री सम्मान '
८.बाल साहित्य संस्था बनौली दरभंगा (बिहार) द्वारा 'बाल साहित्य सम्मान '
और बहुत सारे सम्मान बहुत सारे संस्थाओं से प्राप्त हुए हैं।

विशेष : -

- प्रकाशनाधीन :  चार कविता की,एक लघुकथा की,एक लघुकियां एवम चुभकियां की,एक हाइकु की और दो पुस्तकें अलग तरह की हैं

पता -
DC-११९/४ ,street n.३१०,
न्यू टाउन कलकत्ता -७००१५६ प. बंगाल

प्रश्न न.1 - आपने किस उम्र से लिखना आरंभ किया और  प्रेरणा का  स्रोत क्या है ?
उत्तर -  दस वर्ष की उम्र में विचार आया था गीत के रूप में। एक बार मैं बीमार था।बिस्तर पर लेटा हुआ था। घर में लक्ष्मी जी के दो कैलेंडर टंगा था।एक में वो बैठी थी एक में वो खड़ी थी।एक हाथ से धन गिर रहा था एक हाथ आशीर्वाद की मुद्रा में उठा था। इसी पर मन में विचार आया कि एक फोटो में बैठी एक में खड़ी है तो मैं इसी पर कविता कम गीत  बना कर गुनगुनाया करता था। फिर बाद में किसी पत्रिका में एक कविता पढ़ने को मिली जो समुंदर और नौका के ऊपर थी।उसे पढ़कर ही मेरे मन में विचार आया की मैं भी कविता लिखूं। तब से ही धीरे- धीरे लिखने लगा। पर उसे संग्रहित न कर सका।
      
प्रश्न न. 2 - आप की पहली रचना कब और कैसे प्रकाशित या प्रसारित हुई है ?
उत्तर -  पहली रचना कलकत्ता से प्रकाशित " आकूत" नामक एक तिमाही पत्रिका में कविता प्रकाशित हुई। "धुआं" नामक एक तिमाही पत्रिका में लघुकथा।

प्रश्न न. 3 - आप किन-किन  विधाओं में लिखते हैं और सहज रूप से सबसे अधिक किस विधा में लिखना पंसद करते हैं ?
उत्तर -  मैं हर विधा में लिखता हूं। विशेष कर कविता, लघुकथा, हाइकु, लघुकियाँ और चुभकियाँ,लेख व आलेख,बाल रचना भी। कविता व लघुकथा।

प्रश्न न. 4 - आप साहित्य के माध्यम से समाज को क्या संदेश देना चाहते हैं ?
उत्तर - मैं कविता और लघुकथा के माध्यम से समाज फैले कुरीतियों के बारे में संदेश देना चाहता हूं। जाति धर्म के कारण मानवता के विरुद्ध हो रहे अत्याचार के बारे में, ऊंच नीच से फैलता वैमनस्य, नारी शोषण, नारी अत्याचार के विरुद्ध संदेश देना चाहता हूं। देश है तो हम हैं, प्रकृति है तो हम हैं। इन सब के बारे में संदेश देना चाहता हूं।

प्रश्न न. 5 - वर्तमान साहित्य में आप के  पसंदीदा लेखक या लेखिका की कौन सी  पुस्तक है ?
उत्तर - बहुत से हैं पर कौन बेहतर है, किसकी कौन सी पुस्तक बेहतर है। इस पर ठीक से विचार ही नहीं किया हूं।

प्रश्न न. 6 - क्या आपको आकाशवाणी एवं दूरदर्शन पर प्रसारित होने का अवसर मिला है ? ये अनुभव कैसा रहा  है ?
उत्तर - एक बार मौका मिला था पर किसी कारण वश हो नहीं पाया। फिर मैंने कोशिश नहीं की। हर जगह सिफारिश की जरूरत पड़ती है। कोई कितना भी अच्छा लिखे जबतक कोई सिफारिश या जान पहचान नहीं होती मौका मिलना मुश्किल हो जाता है। जान पहचान होने पर ऐरे गैरे भी सफल हो जाते हैं। सब जगह ग्रुप बाजी चलती है।

प्रश्न न. 7 - आप वर्तमान में कवि सम्मेलनों को कितना प्रासंगिक मानते हैं और क्यों?
उत्तर -  वर्तमान में कविसम्मेलनों की प्रासंगिकता बढ़ गई है। जहां देखिए भी कवि सम्मेलन हो रहा है। लेकिन इसे कवि सम्मेलन नहीं चुटकुला सम्मेलन का सकते हैं। कुछ ही सम्मेलन अच्छे होते हैं। बाकी सबको तो मंच पर जाने और फ़ोटो खिंचवाने की व्यस्तता रहती है। कवि सम्मेलन जरूरी है क्योंकि इससे छिपी प्रतिभा को सामने आने का मौका मिलता है। किसके अंदर क्या है? कौन क्या लिख रहा है इसकी जानकारी मिलती है। मनोरंजन के बहाने ही कुछ साहित्य की चर्चा हो जाती है।

प्रश्न न. 8 - आपकी नज़र में साहित्य क्या है  तथा फेसबुक के साहित्य को किस दृष्टि से देखते हैं ?
उत्तर - मेरी नजर में साहित्य एक साधना है,साहित्य एक पूजा है, साहित्य एक तपस्या है। साहित्य जीवन का दर्शन है। साहित्य है तो समाज है। मानवता है और ये सृष्टि है।मैं फेसबुक चलाता नहीं हूं इसलिए इस बारे में मुझे कुछ जानकारी नहीं है। बनावटी जानकारी मैं नहीं दे सकता।

प्रश्न न.9 - वर्तमान  साहित्य के क्षेत्र में मिलने वाले सरकारी व गैरसरकारी पुरस्कारों की क्या स्थिति है ?उत्तर - वर्तमान साहित्य के क्षेत्र में मिलने वाले सरकारी व गैरसरकारी  पुरस्कारों की स्थिति के बारे में मुझे पूर्ण जानकारी नहीं है। सुनी हुई बात बताना ठीक नहीं। शायद यहां भी प्रतिभा कम जान पहचान और सिफारिश की जरूरत होती है।

प्रश्न न. 10 - क्या आप अपने जीवन की महत्वपूर्ण घटना या संस्मरण का उल्लेख करेगें ?
उत्तर - जीवन की महत्वपूर्ण घटना का जिक्र यहां संभव नहीं है। क्योंकि घटना वर्णन करने में समय और पृष्ट अधिक लग जायेंगे। बड़ा आलेख कोई पढ़ना नहीं चाहता है।सबके पास समय का अभाव है या यों कहें सही कार्य में कोई समय देना नहीं चाहता। फिर किसी दूसरे आयोजन में मैं अपना संस्मरण सुनाऊंगा।

प्रश्न न. 11 - आपके लेखन में , आपके परिवार की क्या भूमिका है ?
उत्तर - मेरे लेखन में मेरे परिवार का सहयोग रहता है। कोई मुझे बाधा नहीं देता। मेरी श्रीमती थोड़ा कम पढ़ी लिखी है तो कभी -कभी सुनने को मिलता है कि हमेशा उसी में लगे रहते है। वैसे कवि सम्मेलनों में जाने से मना नहीं करती क्योंकि वो भी कभी -कभी साथ जाती है। इसलिए परिवार से कोई प्राब्लम नहीं। सभी खुश रहते हैं मेरे इस कार्य से।



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