क्या कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है ?

आईपीएल शुरू हो गये हैं परन्तु इस बार दर्शकों के बिना होगा । ऐसा पहली बार हो रहा है ।क्या इस से लोकप्रियता कम नहीं होगी । यही जैमिनी अकादमी की " आज की चर्चा " का प्रमुख विशेष है । अब आये विचारों को देखते हैं : -
कोरोना के कारण बीसीसीआई,अपने घरेलू टूर्नामेंट आईपीएल की 13 में संस्करण का आयोजन इस बार भारत में नहीं बल्कि संयुक्त अरब अमीरात में कर रहा है। जो 20 सितंबर से शुरू होने वाला है। सभी मुकाबला अबू धाबी शाहजहां और दुबई में खेले जाएंगे ।वह भी खाली स्टेडियम में यही पहला और सबसे बड़ा बदलाव है।
और भारत सरकार से भी मंजूरी मिल गई है।
 पहला मैच चैंपियन मुंबई इंडियंस और चेन्नई सुपर किंग्स के बीच मुकाबला शुरू होगा।
लेखक का विचार:-आईपीएल की लोकप्रियता में कमी नहीं होगी क्योंकि सभी दर्शक ऑनलाइन बड़े स्क्रीन पर देखेंगे घर बैठे ही खिलाड़ियों के हौसला इजाफा करेंगे। 
दर्शक से जो आमदनी होता है उसमें कमी होगी लेकिन उसके विकल्प में स्पॉन्सर- सीप बहुत ज्यादा मिल रहा है। 
आईपीएल होने से भारत में मैच देखने के चक्कर में अपने आप ही 7:00 बजे से 10:00 बजे तक लोक- डाउन हो जाएगा।
- विजयेन्द्र मोहन
बोकारो - झारखण्ड
क्रिकेट ऐसा खेल है जिसकी लोकप्रियता कभी भी कम नहीं हो सकती। जैसे जीने के औरत और तारीख के बदले हैं ठीक उसी तरह क्रिकेट में भी बदलाव करके आईपीएल की शुरुआत की गई है सारे मैच सऊदी में हो रहे हैं। दर्शक लोग टीवी पर तो घर बैठ कर आराम से मैच का मजा ले सकते हैं पर्किन इसमें उसकी लोकप्रियता आईपीएल की और बढ़ेगी क्योंकि मनपसंद खिलाड़ी को देखकर लोगों का थोड़ा तो मन स्थिर होगा और उनका मनोबल बढ़ेगा क्योंकि करो ना कि वेद सच कहती है कि मनोबल को अपने मजबूत रखना चाहिए और हमें अपने मन में निगेटिव विचार को नहीं लाना चाहिए निगेटिव विचार ही हमारी जीने की शक्ति को कम करता है क्रिकेट देखेंगे खिलाड़ी को देखकर मनुष्य को अपने जीने के लिए स्पोर्ट्स की भावना मन में जागृत होगी और वह अपने आपको अधिक मजबूत रख सकेंगे क्योंकि हमारे देश में लोग क्रिकेटर कि इतने दीवाने हैं कि भगवान की तरह पूछते हैं, सचिन, गावस्कर , धोनी विराट कोहली जैसे शर्ट पहनना उनके जैसा स्टाइल करना बाल कटवाना आदि करते हैं।
इससे उनका एक स्वस्थ मनोरंजन हो सकेगा और वे अपने घर में खुश रह सकेंगे।
स्वास्थ ही सच्चा धन है यह शिक्षा खेलों से अच्छा कोई नहीं दे सकता।
- प्रीति मिश्रा 
जबलपुर - मध्य प्रदेश
आईपीएल टूर्नामेंट के गल्फ में बिना दर्शकों के आयोजन ऐसा  ही है जैसे दुकानें अपने व्यवसाय  कर रही हैं ।व्यावसायिक युग  में आईपीयल में करोड़ों रूपये लगानेवाले  आयोजक और लाखों , करोड़ों  में बिकने  वाले  खिलाड़ी , दूरदर्शन के चैनल सभी तो कमा रहे हैं।दर्शक ये मैच  दूरदर्शन या अन्य माध्यम से देख लेता है । यह खेल प्रतिस्पर्धा व्यवसायिक है । लाकडाउन में  प्रवासी  मजदूर  अपने गाँव पैदल जलती सड़कों पर छाले लिए चले थे । ये सब आईपीयल की दुकानें के व्यवसायी ने सहायता के लिए हाथ नहीं बढ़ाए ।   कोरोना जैसी संक्रमित वैश्विक महाममारी से देश  इस संकट  से जूझ  रहा है । वहाँ ये लोग  मनोरंजन कर रहे हैं । अच्छा होता   कोरोना काल में देश की तन - मन  - धन से मदद करते ।  करोड़ों रुपये कमानेवाली पिक्चरों की शूटिंग रुकी हुई है । सारे पर्व , हाल ही में गणेशोत्सव पर्व, लालबाग का राजा भी   सामाजिक दूरी बनाए रखने के कारण पंडाल  में  उत्सव नहीं मना रहे हैं ।कोरोना से बचाने हेतु आईपीयल के   इन अमीर खिलाड़ियों को अलग - अलग अपार्टमेंट में ठहराया है । काश ऐसी व्यवस्था वंचित , गरीब वर्ग के लिए भी होती ।
पहली  बार  बिना दर्शकों के  उनकी उत्साहित तालियों  के बिना इंडियन प्रीमियर लीग (  आईपीयल )का  13 वें सीजन का यह  मैच कोरोना  महासंकट के कारण जैविक सुरक्षा परिवेश में   संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के तीन शहर दुबई, शारजाह और अबु धाबी में 19 सितंबर 2020 से आईपीएल का श्री गणेश  होगा ।  हर दिन एक मैच होगा । कोरोना महाममारी  से  संक्रमण न होने की वजह से सभी खिलाड़ियों को अलग अपार्टमेंट में ठहराया गया  है ।यह  टूर्नामेंट के गल्फ में बिना दर्शकों के आयोजन ऐसा  ही है जैसे भौतिकवादी  व्यावसायिक युग  में आईपीयल में करोड़ों रूपये लगानेवाले  आयोजक और लाखों , करोड़ों  में बिकने  वाले   क्रिकेट खिलाड़ी  दूरदर्शन के चैनल सभी अपनी कमाई कर रहे हैं   । आईपीएल के मैचों का  लाइव टेलीकास्ट स्टार स्पोर्ट्स पर होगा जिसे  वहीं ऑनलाइन मैच हॉटस्टार पर दर्शक  देख पाएँगें ।अच्छा है !  कोरोना काल में इस मैच से  भीड़   नहीं लगाने की आदत को सँवारा  है, कोरोना संक्रमण पर भी चाबुक मारा है  और  दर्शक अपना समय का सदुपयोग कर सकेंगे । 
दर्शकों के बिना यह खेल चीनीके बिना हलुआ जैसा है ।
  विश्वभर  में  बेकाबू कोरोना ने 3 करोड़ लोगों को अपना शिकार बनाया है  फिर दुबारा विश्व कोरोना  की लहर से ग्रसित हो रहा है ।ऐसे में बिजनेस मॉडल बने क्रिकेट खिलाड़ी पहली  बार  बिना दर्शकों की उत्साहित , मनोबल बढ़ाने वाली तालियों  के बिना ऐसा जैसे जंगल में मोर नाचा किसने देखा जैसा है । कोरोना महाममारी  से  संक्रमण न होने की वजह से सभी खिलाड़ियों को अलग अपार्टमेंट में ठहराया गया  है ।यह  टूर्नामेंट  गल्फ में बिना दर्शकों के आयोजन सुरक्षा के हिसाब से सही है लेकिन  ऐसे लगेगा जैसे   बिना चीनी  के हलुआ   ।  आईपीएल के मैचों का  लाइव टेलीकास्ट ऑनलाइन मैच दूरदर्शन  पर दर्शक  देख के मजा ले  पाएँगें ।अच्छा है !  कोरोना काल में इस मैच ने  भीड़   नहीं लगाने की आदत को सँवारा  है, कोरोना संक्रमण पर भी चाबुक मारा है  ।
कल तारीख 19 सितंबर2020  को  चेन्नई और मुम्बई आईपीएल टूर्नामेंट के बिंदास मैच में 8 वें साल मुंबई ने मैच हारा और कैप्टन धोनी की चेन्नई टीम ने जीत का सेहरा पहना ।
10 नमंबर को फाइनल से ही पता लगेगा असली किस टीम की जीत होगी ।
 - डॉ मंजु गुप्ता
 मुंबई - महाराष्ट्र
बिना दर्शकों के आईपीएल  अपनी लोकप्रियता बना पाता है अथवा नही यह केवल एक तरह से लोगों के बीच आपसी चर्चा और अनुमान लगाने का विषय ही बन गया है चूंकि सभी के लिए समझने का यह पहला मौका है ! जो क्रिकेट में बहुत इंटरेस्ट लेता है या यूं कहें दिल से रस लेता है अपने प्रिय खिलाड़ी को देखता है तो उसे आनंद बहुत आता है ,उसके चौके छक्के पर खुश हो खड़े हो जाता है चाहे घर पर हो या स्टेडियम में किंतु एक बात तो है यदि क्रिकेट प्रेमियों से स्टेडियम खचाखच भरा हो ,आवाजें आती रहती है तो खिलाड़ी का जोश अवश्य दुगुना हो जाता है और दर्शकों को भी आनंद आता है ! कोरोना काल में सभी क्षेत्रों के कार्यों में परिवर्तन आया है और सभी कार्य  ऑनलाइन हो गये हैं अतः हमें बदलती परिस्थिति को स्वीकार कर आनंद लेना और देना सीखना होगा ! कोरोना काल में जैसे शिक्षा हम घर पर ऑनलाइन ले ही रहे हैं पढ़ाई छोड़ी तो नहीं ऑफिस घर पर आ गया तो आईपीएल का आनंद तो ले ही सकते हैं ! हां ये कह सकते हैं यह ऐसा ही है करीब से दूर रहते बेटे को देखने का आनंद और मोबाइल में देखना !
 - चंद्रिका व्यास
 मुंबई - महाराष्ट्र
 जिसकी आवश्यकता और सच्चाई होती है उसकी लोकप्रियता बने ही रहती है अगर किसी की लोकप्रियता धूमिल होती है तो समझ लेना चाहिए कि वह आडंबर है आडंबर ज्यादा दिन तक नहीं टिकती है वास्तविकता अर्थात सही के अर्थ में किया गया कार्य की लोकप्रियता हमेशा बनी रहती है उसके लिए कोई दर्शकों या हो हल्ला करने वालों की आवश्यकता नहीं होती है उसकी खुशबू अपने आप हर जनता में बनी होती है अतः यही कहते बनता है जी के भी आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम कर सकता है बशर्ते की उसमें सच्चाई होनी चाहिए।
 - उर्मिला सिदार 
रायगढ़ - छत्तीसगढ़
क्रिकेट का रोमांच भारतीय दर्शकों के सिर पर चढ़कर बोलता है। आईपीएल के सभी संस्करण इस बात के गवाह हैं। कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल का आयोजन अपनी पूर्व लोकप्रियता को पूर्ण रूप से कायम रख सकेगा, इसमें तो सन्देह है। परन्तु विभिन्न संचार माध्यमों से आईपीएल को भारतीयों का प्रेम और सहयोग मिलेगा, यह निश्चित है।
क्रिकेट एक ऐसा खेल है जिसमें खिलाड़ियों को दर्शकों के साथ की आवश्यकता होती है। स्टेडियम में खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन करता हुआ जन समूह उनमें नयी उर्जा और उत्साह का संचार कर देता है। स्टेडियम से उठती आवाजें खिलाड़ियों के अन्दर के जोश को गेंद और बल्ले पर ला देती हैं जिससे अद्भुत क्रिकेट का नजारा उत्पन्न होता है। आईपीएल के अधिकांश मैचों में मुकाबला अन्तिम क्षणों में परिणाम देता रहा है। परिणाम से पहले हजारों की संख्या के जनसमूह का सन्नाटा और परिणाम के बाद स्टेडियम के कण-कण से उठती आवाजें, रोमांच की चरम सीमा होती है। सभी टीम इसी रोमांच की भूखी होती हैं और इन्हीं रोमांचक क्षणों को पाने के लिए टीमें आगामी मैचों में उत्कृष्ट प्रदर्शन हेतु प्रोत्साहित होती हैं।
दर्शकों के बिना यह रोमांच कैसे उत्पन्न हो सकता है। रोमांच के बगैर आईपीएल अपनी लोकप्रियता कैसे कायम रख सकता है? 
- सतेन्द्र शर्मा 'तरंग'
देहरादून - उत्तराखण्ड
            कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम नहीं रख पायेगा। बिना दर्शकों के कोई भी खेल लोकप्रिय नहीं हो सकता। जब दर्शक ही नहीं रहेंगें तो कौन अच्छा खेला कौन नहीं खेला इसका आनंद कौन लेगा। 
         जब खिलाड़ी चौका या छक्का मारते हैं तो कौन चिल्ला कर उन्हें शाबाशी देगा। कौन पोस्टर उठा कर चौके और छक्के की मांग करेगा। छक्का लगाने पर दर्शक दीर्घा में कौन
बॉल लपकने की कोशिश करेगा। ये तो खेल से पहले जब मैदान में खिलाड़ी अभ्यास करते हैं और कोई दर्शक नहीं रहता उसी तरह का हो गया।
     जब दर्शक ही नहीं रहेंगे तो रन आउट का रिप्ले पर कौन उत्साहित या हतोत्साहित होगा। खिलाड़ियों का भी उत्साह उतना नहीं रहेगा जितना स्टेडियम में दर्शक खचाखच भरे रहते हैं।
     किस तरह से कहा जा सकता है कि कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता बरकरार नहीं रख पायेगा।
- दिनेश चंद्र प्रसाद "दीनेश" 
कलकत्ता - प. बंगाल
कोरोना के बीच आईपीएल बीना दर्शकों के यूएई में शुरू
दर्शकों और चीयर्स गर्ल्स की कमी दर्शकों को मायूस कर रही है कोरोना काल के बीच आईपीएल 13 वेे सीजन का आगाज 19 सितंबर को शुरू हो गया। यूएई धाबी के शेख जाया स्टेडियम रोशनी से जगमग कर रहा था, लेकिन स्टेडियम में दर्शकों कि नहीं रहने पर हर तरफ उदासी ही दिख रही थी। दर्शकों के साथ-साथ इस बार के आईपीएल में कोरोना के कारण चीयर्स गर्ल नजर नहीं आ रही थी, जिससे स्टेडियम की रौनक ही गायब दिख रही थी। दर्शकों के बिना आईपीएल प्रतियोगिता अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है ऐसा कुछ खास नहीं दिख रहा है। हालांकि टेलीविजन और मोबाइल के माध्यम से करोड़ों दर्शकों ने आईपीएल के आगाज को जरूर देखा, लेकिन स्टेडियम में दर्शक और चीयर्स गर्ल्स की लटके झटके नहीं दिखने के कारण वह उत्साह और उमंग दर्शकों मैं नहीं दिख रहा था। यूएई में पहली प्रतियोगिता विश्व विजेता मुंबई इंडियंस और उपविजेता चेन्नई सुपर किंग के बीच हुआ, जिसमें पहली जीत महेंद्र सिंह धोनी की चेन्नई सुपर किंग ने दर्ज की। आईपीएल का सारा खेल 53 दिनों का होगा जिसमें सात मैच खेले जाने हैं। कूल 8 टीमें भाग ले रही है जिसमें भारत के अलावे विदेशी खिलाड़ी भी शामिल है। आईपीएल शुरू होने से पहले बीसीसीआई के सचिव जय शाह ने रोशनी से नहाए स्टेडियम की स्टेडियम की एरियल व्यू की तस्वीरें दुनिया में साझा किया था। यह पहला मैच शुरू हुआ जो 8:00 बजे के बजाए शाम 7:30 बजे शुरू हुआ। आईपीएल का प्रसारण स्टार स्पोर्ट्स के चैनल पर दिखाया जा रहा है जो अंग्रेजी के अलावा हिंदी कन्नड़ तमिल सहित कई क्षेत्रीय भाषाओं में कवरेज किया जा रहा है। स्टार स्पोर्ट्स के अलावा सीजी हॉटस्टार वीआईपी पर भी मुकाबले की लाइव स्ट्रीमिंग हो रही है। हालांकि क्रिकेटर वीवीएस लक्ष्मण का कहना है कि कि बिना दर्शकों के भी आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है। इसके लिए सारी तैयारियां बीसीसीआई की ओर से की गई है ताकि दर्शकों में उत्साह और उमंग पहले की तरह बना रहे। इंडियन प्रीमियर लीग आईपीएल ऐसा क्रिकेट मुकाबला है जो भारत ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में प्रसिद्ध है, जिसे देखने के लिए युवा वर्ग से लेकर महिलाएं और बुजुर्ग भी उत्साहित रहते हैं। आईपीएल के शुरू होते ही 10 को मैं उत्साह तो जरूर दिख रहा है लेकिन स्टेडियम में दर्शकों और इयर्स गर्ल का कमी उन्हें जरूर देखने को मिल रही है।
- अंकिता सिन्हा कवयित्री
जमशेदपुर -  झारखंड
कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है यह संदिग्ध है।  आईपीएल की लोकप्रियता दर्शकों की अनुपस्थिति में कम ही होगी।  खचाखच दर्शकों से भरे मैदान, छक्कों को कैच करते दर्शक, दर्शकों के मिले जुले शोर से प्रोत्साहित होते खिलाड़ी और कमेंटेटर, हाथों में चैकों और छक्कों की तख्तियां उठाए लोग, कैमरों से कवर करने वाले लोग, सीमा पार से बाल उठा कर देते बच्चे और लोग, बीच-बीच में खाने-पीने का सामान बेचने वाले और आनन्द लेते लोग। ऐसे दृश्य की कल्पना बिना दर्शकों के कैसे की जा सकती है और किस प्रकार आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है।  मैच जीतने पर दर्शकों द्वारा ढोल-नगाड़े बजाना, चीयर-लीडर्स की प्रतिक्रियाएं, इन सब के बिना आईपीएल की लोकप्रियता कहां!  आईपीएल तो खेला ही जाना है। बहुत सी बाते हैं जिनके आधार पर यह कहा जा सकता है कि आईपीएल की अब अन्य रूप में लोकप्रियता बन सके पर अब तक की लोकप्रियता कायम नहीं रखी जा सकती 
- सुदर्शन खन्ना 
दिल्ली 
आईपीएल अर्थात 'इंडियन प्रीमियर लीग ' यह भारतीय क्रिकेट नियंत्रण बोर्ड द्वारा संचालित ट्वेंटी-ट्वेंटी प्रतियोगिता है । भारत में आईपीएल की शुरुआत 2008 है । इसके संस्थापक ललित मोदी जी हैं   ।सन 2007 में भारत (बीबीसीआई के सदस्य)में ललित मोदी ने क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड द्वारा स्थापित किया । इसका मुख्यालय मुंबई में है ।
 पहला आईपीएल सन 2008 में खेला गया। कोरोना काल में खेलों में भी सामाजिक दूरी और स्वास्थ्य प्रोटोकोल को माना गया । बाद में खेल की महत्ता को बरकरार रखते हुए स्टेडियम में बिना दर्शकों के खेलों का प्रारंभ हुआ । समाचार पत्रों के माध्यम से यह पता चलता है कि करोना काल में आईपीएल के साथ भारतीय खेलो को शुरू किया जाएगा। आईपीएल 2020 करोना काल में ही बिना दर्शकों ,बिना फैंस, बिना चीयरलीडर के साथ खेला जाएगा। कोरोना वायरस महामारी के भय के बीच में दुनिया भर के क्रिकेट प्रेमियों के चेहरों पर मुस्कान आना स्वभाविक है । भारत में कोरोना महामारी के बढ़ते मामलों के कारण टूर्नामेंट यूएई में खेला जा रहा है और मैदान में दर्शक नहीं होंगे । क्रिकेट खिलाड़ियों द्वारा चौके छक्के मारने पर कोई शोर नहीं सुनाई देगा इसके बावजूद कोई शिकायत नहीं क्योंकि कम से कम खेल देखने को तो मिलेगा । कोरोना महामारी के फैलने से पहले जब भी क्रिकेट खेल हुआ करते थे तो दर्शकों से खचाखच भरे स्टेडियम अपना ही महत्त्व रखते थे  ।सुपर ओवर में खूब तालियां पीटते ,शोर करते, हाथ उठा उठा कर खेल प्रेमी अपनी प्रसन्नता  व्यक्त करते थे । आज स्टेडियम भले ही दर्शक विहीन  है मगर लोगों को  टीवी पर कम से कम खेल देखने को तो मिलेगा । ज्यादा नहीं तो कम फिर भी खेल की महत्ता और लोकप्रियता  बनी रहेगी ।
- शीला सिंह
बिलासपुर -  हिमाचल प्रदेश 
     आईपीएल 19 सितम्बर से बिना  दर्शकों की लहर से प्रारंभ हो गया। जैसे फिल्मांकन किया जाता हैं, उसके बाद टाकिजों में प्रदर्शित होती हैं और फिर लोकप्रिय होती थी। उसी तरह कोरोना महामारी के संकमणों से बचाव के साथ दर्शक-दीर्घा में न जाते हुए, टीवी चैनलों तथा मोबाईलों में आनंद अप्रत्यक्ष रूप से उठाये, लेकिन जो आनंद प्रत्यक्ष रूप से आता हैं, उसका मजा कुछ ही हैं। वैसे भी जो दर्शक जा नहीं सकते थे और घरों में, चौक-चौराहों पर रात-रात भर आनंद उठाते ही थे। अगर ऐसा ही था, तो लाँकडाऊन के दौरान ही मैंच प्रारंभ कर देना था, बिचारे दर्शक घरों में बोर तो नहीं होते और उनकी इच्छा पूर्ति हो जाती। पहला प्रयास हुआ हैं, कितना सार्थक होता हैं, अब समय ही बताएगा?
- आचार्य डाॅ.वीरेन्द्र सिंह गहरवार 'वीर' 
  बालाघाट - मध्यप्रदेश
       जी नहीं! कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रखने में असमर्थ रहेगा। क्योंकि बिना दर्शकों के हौंसला भी बुलन्द नहीं होता। चूंकि दर्शक साहस बढ़ाने का सर्वोच्च स्रोत माने जाते हैं। वह चौके छक्के पर अपने देश के खिलाड़ी के समर्थन में राष्ट्रध्वज फहराते हैं। जिससे खिलाड़ी के मन-मस्तिष्क एवं शरीर में अथाह शक्ति का संचार होता है। किंतु जब दर्शक नहीं तो साहस व शक्ति को कौन बढ़ावा देगा?
          दूसरे शब्दों में यह कहना अतिश्योक्ति नहीं होगी कि जब लोक ही नहीं होंगे तो लोकप्रियता कहां से आएगी? चूंकि लोकप्रियता का आधार ही दर्शक अर्थात लोग होते हैं।
        अतः कहने का तात्पर्य यह है कि कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता पहले की भांति कायम नहीं रख सकता है।
- इन्दु भूषण बाली
जम्मू - जम्मू कश्मीर
       कोई भी खेल बिना उत्साहवर्धन के नहीं खेला जा सकता ।जब स्टेडियम में दर्शक नहीं होंगे तो खिलाड़ियों की खेलने की परिस्थिति बदल जाती  है और उनका उत्साहवर्धन नहीं हो पाता और जब उत्साहवर्धन ही नहीं होगा तब ऐसी परिस्थिति में किसी भी  खिलाड़ी की गुणवत्ता प्रभावित होती है । गुणवत्ता के बगैर कोई भी खेल न तो जनता में लोकप्रिय होता है और न ही जनता का लगाव उस खेल के प्रति बचता है।
    अगर हम गंभीरता से विचार करें तो हम पाते हैं कि भारत कासर्वाधिक लोकप्रिय खेल हॉकी था जिसे विश्व में सर्वाधिक मान्यता प्राप्त हुई । प्रत्येक बच्चा अपने आप को ध्यानचंद बनाना चाहता था यह सब तभी संभव हुआ जब भारत की हॉकी की टीम जर्मनी में  होने वाले ओलंपिक में भाग लेने गई थी । हिटलर ने ध्यानचंद को जर्मनी की टीम से खेलने का आग्रह भी किया था। इस घटनाक्रम से यह तो स्पष्ट ही है की लोकप्रियता जन भागीदारी के साथ आती है।
   ठीक ऐसी ही परिस्थिति 1982 के पूर्व  थी जो आज है।1982 में भारत के तत्कालीन क्रिकेट टीम की कप्तान कपिल देव ने जिंबाब्वे के विरुद्ध 175 Run बिना आउट हुए बनाए थे जो जनमानस के ध्यान पटल पर अंकित हो गया ।इसकी पुष्टि सचिन तेंदुलकर ने भी की और क्रिकेट जैसा खेलआज भारत में धर्म की तरह पूजा जानेलगा।
    यह सभी कुछ मात्र लोकप्रियता के मापदंड के उत्कृष्ट उदाहरणों में से एक है ।आज की परिस्थिति में आईपीएल का खेल भारत के बजाए अरब देशों में खेला जा रहा है और तर्क यह गढ़ा जा रहा है कि भारत में कोरोना है।
     मेरी समझ में यह नहीं आता कि अरब देश भी क्या कोरोना से अछूते हैं ?जो कोरोना भारत में जन  मानस को प्रभावित करता है तो वही कोरोना अरब देशों को भी प्रभावित करता है 
    नितांत अकेले एवं खाली स्टेडियम में खेले गए खेल कभी भी लोकप्रिय नहीं होते ।जैसे शतरंज का खेल कैरम का खेल जो बंद कमरों में खेला जाता है ,वह खेल न तो लोकप्रिय होता है और न ही उसे जनता की उतनी स्वीकार्यता प्राप्त होती है ।
   मेरे दृष्टिकोण में खेलों की गुणवत्ता बनाए रखने एवं लोकप्रिय बनाए रखने के लिए खेलों का आयोजन भारत से बाहर नहीं करना चाहिए था। शायद हम इसका परिणाम आने वाले भविष्य में देखेंगे जो संभवतः प्रतिकूल ही होगा जैसा कि इतिहास बतलाता है।
- श्रीमती गायत्री ठाकुर "सक्षम"
 नरसिंहपुर - मध्य प्रदेश
कोरोनाकाल में बिना दर्शकों के आई पी एल का आयोजन होना ही इसकी लोकप्रियता का प्रमाण है। प्रायोजित खेल के साथ हुस्न और अदाओं के प्रसारण के आयोजन का ही नाम तो आई पी एल है। अब लोकप्रियता के कारण सबके लिए अलग अलग हो सकते हैं, लेकिन लोकप्रियता में कोई कमी नहीं। दरअसल यह आयोजन खेल के लिए कम मनोरंजन के लिए अधिक लोकप्रिय हुआ था। चीयर्स गर्ल्स के जलवों की दीवानगी से इसे लोकप्रिय बनाया। विज्ञापनों से होने वाली आमदनी की चकाचौंध में आयोजकों को इसे कोरोनाकाल में भी आयोजित किया है । इसके चलते बड़े शहरों की बात तो क्या, छोटे छोटे कस्बों तक में सट्टेबाजी का धंधा जोर शोर से चल रहा है। खेल तो जो है, सब जानते ही हैं।यह एक शो बिजनेस है,और हर शो बिजनेस की तरह यह आम दर्शकों को आकर्षित करता ही है।इसी कारण इसकी लोकप्रियता में कमी आने की संभावना ही नहीं है।
- डॉ.अनिल शर्मा 'अनिल'
धामपुर - उत्तर प्रदेश
कोरो ना  काल में भी बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है। कल स्टेडियम में बिना दर्शकों के आईपीएल क्रिकेट मैच 51लाख से अधिक दर्शकों ने टीवी पर देखने का आनंद उठाया। अतः हम कह सकते हैं कि स्टेडियम में बिना दर्शकों के भी आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है।
- रंजना हरित 
बिजनौर - उत्तर प्रदेश
आईपीएल जिसको  इंडियन प्रीमियर लीग के नाम से जाना जाता है , इसकी स्थापना भारतिय क्रिकेट कंटृोल ने २००८में की थी और तब से हर साल  यह प्रतियोगिता होती रहती है, 
 भारतिय क्रिकेट कंटृोल वोर्ड दवारा यह टवेन्टी टवेन्टी प्रतियोगिता भारत में ही की जाती है, यह एक पेशावर लीग है और बहुत रोमांचक होती है, इसमें कोई भी टीम २५ या २८ खिलाड़ी चुन सकती है, यही नहीं कोई भी टीम आठ खिलाड़ी  विदेशी  अपनी टीम में रख सकती है
जिस टीम का मालिक जिस खिलाड़ी को ज्यादा  पैसे देगा 
वोही खिलाड़ी चुन लिया जाता है। 
आईपीएल दूनिया में सबसे ज्यादा देखी जाती है, इसमें आठ शहरों की आठ टीमों को शामील किया जाता है, आजतक इस  प्रतियोगिता में १३ टीमें हिस्सा  ले   चुकी हैं कहने का मतलब अभी तक  १२ सीजन खोले गए हैं। 
इन १२ सीजनों में आईपीएल की लोकप्रियता भी वढ़ी साथ साथ में स्पांस्रशिप की रकम भी वढी़। 
यही नहीं बीबो ४४०करोड़ स्पांस्रशिप की वढ़त हर साल देता धा, लगता है इस साल चीनी मोबाइल कंपनी बीबो के हटने के असार हैं  जो बी सी सी के लिए परेशानी लग सकती है। 
अब कोरोना काल २०२०में टाटा ने वी सी सी आई के साथ हाथ मिलाया है, 
आईपीएल २०२० होना लगभग तय हो गया है जबकि इसकी तारिखों का ऐलान भी हो गया है,  और सरकार से लगभग परमीशन भी मिल गया है, 
वी सी सी आई का अनूमान है कि अप्रैल २०२० तक कोरोना काल कम हो जाएेगा क्योंकी तब तक मौसम करबट बदल लेगा तो पहला मैच २९मार्च को खाली मैदान पर हो जाएगा हो सकता है विदेशी खिलाड़ी भाग नहीं ले सकेंगे लेकिन  मैच होने की हर संभावना है। 
यह भी मानना है कि इस लीग की लोकप्रियता बढ़ेगी, क्योंकी १३० करोड़ लोगों की भावनांए इस का महत्ब वढ़ाऐं गी, यही नही यह लीग दूनिया का सबसे चेहता लीग बन गया है
दूनिया भर के क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में इसने अपनी इतनी जगह बना ली है की आईपीएल का बोलबाला चरम पर है। 
लग रहा है इस लीग में दिवानगी वढ़ेगी, 
यही नहीं लोग घर  वैठे कोरोना काल में इन मैचों का   लुत्फ उठाएंगे जिससे लाक डाउन को भी सहायता मिलेगी अत: कोरोना काल में बिना दर्शकों आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम  रखने में कामयाब रहेगा।  
- सुदर्शन कुमार शर्मा
जम्मू  - जम्मू कश्मीर
आज की चर्चा में जहांँ तक यह प्रश्न है कि क्या कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है तो इस पर मैं कहना चाहूंगा कि यह बात वास्तव में निर्विवाद रूप से सही प्रतीत होती है की कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल को उतनी लोकप्रियता नहीं प्राप्त होगी और इसकी लोक प्रियता पर असर पड़ेगा परंतु लोग इसे टीवी पर लाइव प्रसारण के रूप में जरूर देखेंगे मुख्य रूप से इस तरह के आयोजन विज्ञापनों से प्राप्त कमाई के आधार पर ही चलते हैं और वह कमाई कम ना हो इसीलिए इस तरह के निर्णय लिए जा रहे हैं कि आई पी एल का आयोजन बिना दर्शकों के ही कराया जाए और उसका  लाइव प्रसारण टेलीविजन के माध्यम से हो जिससे कि केवल टिकट से प्राप्त आय का ही नुकसान हो विज्ञापनों से जो भारी आमदनी होती है कम से कम वह जरूर होती रहे परंतु यह निश्चित रूप से कहा जा सकता है कि इसकी लोकप्रियता में कहीं ना कहीं कमी जरूर आएगी 
- प्रमोद कुमार प्रेम 
नजीबाबाद - उत्तर प्रदेश
कोरोना जैसी महामारी ने सम्पुर्ण संसार की व्यवस्था पर अत्यधिक प्रभाव डाला है। चाहे वो शिक्षा का क्षेत्र हो चाहे व्यवसायों का क्षेत्र हो ‌घर पर रहकर सभी काम हो तो रहे हैं परन्तु फीडबैक जो आमने-सामने मिलता है वह इंटरटेंमेंट से नहीं हो पाता बात करें आई पी एल मैच की तो जहां कोरोना से पहले मैच स्थान पर लोगों की भीड़ हुआ करती थी वहां स्टेडियम खाली पड़ा है जहां पहले हर चोके छक्के-चौके पर इतना शोर सुनाई देता था और वही शोर खिलाड़ी का फीडबैक हुआ करता था वह एक शोर खिलाड़ी के अन्दर एक जोश पैदा कर देता था वहीं आज अकेले खिलाड़ी व आवश्यक पदाधिकारी ही मोजूद हैं और अगर इसका दूसरा पहलू देखें तो जिसमें जीत की दृढ़ इच्छाशक्ति हो उसे शोर होने ना होने पर कोई फर्क नहीं पड़ता अतः इस बार आई पी एल पर कोरोना काल का कुछ तो प्रभाव पड़ेगा।।
 - ज्योति वधवा"रंजना"
बीकानेर - राजस्थान
आईपीएल यानीके इंडियन प्रीमियर लीग जिसकी शुरुआत सन 2007 में हुई थी | 2007 में भारत (बीसीसीआई) के सदस्य ललित मोदी ने क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड द्वारा स्थापित किया गया, अप्रैल और हर साल के मई के ऊपर निर्धारित है,  आईपीएल यह 20 ओवर का मैच होता है जिसमें आठ  टीमों को खिलाया जा रहा है | यह हर वर्ष अप्रैल और मई के महीने में शुरुआत इसकी  होती है, परंतु इस वर्ष कोरोना महामारी के चलते इसको सितंबर माह में शुरू किया गया है, परंतु इस बार यह दुबई में आयोजित किया गया है और जैसा कि कहा गया है कि कोरोना काल में बिना दर्शकों के आईपीएल अपनी लोकप्रियता कायम रख सकता है, जी बिल्कुल आईपीएल की लोकप्रियता हर साल की तरह और दिन पर दिन बढ़ती जाती है क्योंकि यह एक खेल नहीं इस खेल में लोगों की भावनाएं जुड़ी हुई हैं, सभी लोग अपने टीवी फोन लैपटॉप आदि ने आईपीएल का लुफ्त उठा रहे हैं, हाला कि जो खिलाड़ी हैं उनको दर्शकों की कमी जरूर खल  रही है परंतु आईपीएल अपने लोकप्रियता के लिए सर्वोच्च है | 
 - रजत चौहान
 बिजनौर - उत्तर प्रदेश
सात आठ महीनों से कोरोना के कारण सभी का जीवन शैली मानसिकता बिल्कुल बदल गई है इस बदले हुए मानसिकता में हर चीज को स्वीकारने के लिए इंसान तैयार हो गया है इसलिए इस माहौल में भी जो आईपीएल का क्रिकेट मैच हो रहा है वह उतना ही आनंददायक और सफल होगा क्योंकि महीनों बाद स्क्रीन पर क्रिकेट खिलाड़ी क्रिकेट खेलते हुए दिख रहे हैं सामान्य तौर पर शोरगुल भी दिखाया जा रहा है ऑडियो और वीडियो के माध्यम से दर्शकों की उपस्थिति नहीं है फिर भी शोरगुल की आवाज बहुत तेज है तो खिलाड़ियों को उत्साहित होने के लिए उत्तेजना ए तो मिलते ही रहेगी इसलिए कोरोना के समय में भी आईपीएल का क्रिकेट खेल उतना ही सफल होगा जैसे पहले सफल हुआ था
- कुमकुम वेद सेन
मुम्बई - महाराष्ट्र


" मेरी दृष्टि में " बिना दर्शकों के कई कार्यक्रम शुरू हो गये हैं । ऐसी कोरोना काल में इससे अधिक कुछ नहीं हो सकता है । जो रहा है वर्तमान में बहुत अच्छा है ।
       - बीजेन्द्र जैमिनी
                             डिजिटल सम्मान     

Comments

  1. दिवंगत आत्मा को ईश्वर शांति प्रदान करें. ॐ शांति शांति

    ReplyDelete
  2. ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें ओम शांति शांति शांति

    ReplyDelete
  3. कोरोना काल में मैदान में दर्शक नहीं मिल पाएंगे किंतु ऑनलाइन आईपीएल सभी देख सकेंगे एवं खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन करने का प्रयास करेंगे। टिकट की बिक्री का लॉस जरूर होगा पर ऑनलाइन तो उत्साहित कर ही सकते हैं अपने खिलाड़ियों को। इस स्थिति में और कुछ विकल्प भी नहीं है ।हो सकता है आईपीएल की लोकप्रियता बनी रहे।

    ReplyDelete

Post a Comment

Popular posts from this blog

वृद्धाश्रमों की आवश्यकता क्यों हो रही हैं ?

हिन्दी के प्रमुख लघुकथाकार ( ई - लघुकथा संकलन ) - सम्पादक : बीजेन्द्र जैमिनी

लघुकथा - 2023 ( ई - लघुकथा संकलन )