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Showing posts from May, 2020

लॉकडाउन की वजह से अपनी आय की कमी से भविष्य में क्या प्रभाव पड़ेगा ?

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लॉकडाउन की वजह से गैर सरकार कर्मचारियों के साथ - साथ सभी की आय में कमी आई है । जो भविष्य के लिए किसी भी स्तर पर उचित नहीं कहाँ जा सकता है । कोरोना ने बहुत बड़ाई पीढा दी है । जिसने वर्तमान के साथ - साथ भविष्य भी चौपट कर दिया है । यही " आज की चर्चा " का प्रमुख विषय है । अब देखते हैं आये विचारों को : - कोरोना कालखंड इतिहास में एक काले युग के रूप में दर्ज होगा  । इस कालखंड में एक अदृश्य लाइलाज वायरस  के सामने सारी दुनिया विवश नजर आई । संक्रमण रोकने के लिए  लोगों को अपने घरों में कैद होना पड़ा । मजदूरों - श्रमिकों का रोजगार चला गया । उन्हें मजबूरन अपने घरों की ओर पलायन करना पड़ा । सरकारी नौकरी करने वालों को करीब डेढ साल तक कोविड फंड देना पड़ेगा । दुकानों में ग्राहक कम हैं । कम्पनियों - फैक्टरियों में कम श्रमिकों से कम सैलरी पर अधिक समय तक कार्य लिया जा रहा है  । वस्तुओं के दाम बढ गए हैं । मंहगाई से त्रस्त हैं लोग ।बच्चों की आनलाइन स्टडी हो रही है  , जिसके अतिरिक्त चार्ज किए जा रहे हैं । कहने का तात्पर्य कि जेब पर हर ओर से कैंची । बचत कम होगी । व्यवसाय में तेजी नहीं होगी । प

कोरोना काल से प्रभावित रियल एस्टेट का भविष्य क्या है ?

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कोरोना वायरस ने सभी के रोजगारों को प्रभावित किया है ।लोगों की बचत से ही रियल एस्टेट का कारोबार चलता है । जब लोगों की बचत के साधन ही कम हो गये हैं तो रियल एस्टेट का कारोबार प्रभावित होना लाजिमी है । यहीं " आज की चर्चा " का प्रमुख विषय है । अब आये विचारों को देखते हैं : -  कोविड-19 महामारी के कारण वैश्विक बाजार और सामाजिक ढांचा पूरी तरह से चरमरा गया है। अधिकतर अर्थव्यवस्थायें ठहर गयी हैं।  इसी प्रकार जो रियल एस्टेट क्षेत्र पहले से ही मंदी की मार झेल रहा था, कोरोना के कारण उसका वर्तमान पूरी तरह से बर्बाद हो गया और भविष्य की धारणा अनिश्चितता के गर्भ में है। जबकि कृषि क्षेत्र के बाद यही क्षेत्र सबसे अधिक रोजगार प्रदान करता है । एक कहावत "उम्मीद पर दुनिया कायम है" मनुष्य को बहुत शक्ति प्रदान करती है। इसी पर विश्वास करते हुए कहा जा सकता है कि रियल एस्टेट भी इस खराब दौर से अवश्य बाहर निकलेगा परन्तु इसके भविष्य को संवारने हेतु सरकारों को आगे आना होगा। ऋण योजनाओं को सरल बनाना होगा और नियमों में कुछ ढील देनी होगी। कोरोना के अधिकाधिक भीषण कहर के बाद भी मेरा दृढ़ व